भारत में हाई नेट वर्थ इंडिविजुअल (HNWI) की संपत्ति में 8.8% की वृद्धि: कैपजेमिनी रिपोर्ट
मुंबई, 4 जून – भारत में हाई नेट वर्थ इंडिविजुअल (HNWI) की संपत्ति में 2024 में उल्लेखनीय 8.8 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई है। इसके साथ ही, पिछले साल के अंत तक देश में 3,78,810 करोड़पतियों (मिलियनेर्स) की कुल संपत्ति 1.5 ट्रिलियन डॉलर (लगभग 125 लाख करोड़ रुपये) के रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गई। यह जानकारी बुधवार को जारी 'वर्ल्ड वेल्थ रिपोर्ट 2025' में सामने आई है, जिसे वैश्विक परामर्शदाता फर्म कैपजेमिनी रिसर्च इंस्टीट्यूट ने प्रकाशित किया है। यह वृद्धि भारत की मजबूत आर्थिक स्थिति और बढ़ती समृद्धि का एक स्पष्ट संकेत है।
भारत में करोड़पतियों की बढ़ती संख्या और उनकी संपत्ति
कैपजेमिनी रिसर्च इंस्टीट्यूट की 'वर्ल्ड वेल्थ रिपोर्ट 2025' के अनुसार, 2024 के अंत तक भारत में 3,33,340 करोड़पतियों (मिलियनेर्स) की संपत्ति 628.93 बिलियन डॉलर (लगभग 52 लाख करोड़ रुपये) रही। यह आंकड़ा उन व्यक्तियों को संदर्भित करता है जिनकी निवेश योग्य संपत्ति 1 मिलियन डॉलर या उससे अधिक है, जिसमें उनका प्राथमिक निवास, संग्रहणीय वस्तुएं, उपभोग्य वस्तुएं और टिकाऊ उपभोक्ता वस्तुएं शामिल नहीं हैं। यह वृद्धि भारत में धन सृजन की गति को दर्शाती है, जो विभिन्न आर्थिक क्षेत्रों में विकास से प्रेरित है।
इसके अतिरिक्त, रिपोर्ट ने भारत में अल्ट्रा हाई नेट वर्थ इंडिविजुअल (UHNWI) की संख्या में भी वृद्धि का खुलासा किया है। 2024 के अंत तक, भारत में 4,290 अल्ट्रा एचएनडब्ल्यूआई थे, जिनकी कुल संपत्ति 534.77 बिलियन डॉलर (लगभग 44.5 लाख करोड़ रुपये) थी। अल्ट्रा एचएनडब्ल्यूआई वे व्यक्ति होते हैं जिनकी निवेश योग्य संपत्ति 30 मिलियन डॉलर या उससे अधिक होती है। इन आंकड़ों से पता चलता है कि देश में न केवल करोड़पतियों की संख्या बढ़ रही है, बल्कि अत्यधिक धनी व्यक्तियों की संख्या और उनकी संचित संपत्ति में भी उल्लेखनीय वृद्धि हो रही है।
अगली पीढ़ी के HNWI की बदलती अपेक्षाएं और वेल्थ मैनेजमेंट में बदलाव
रिपोर्ट में एक महत्वपूर्ण प्रवृत्ति पर प्रकाश डाला गया है जो वेल्थ मैनेजमेंट उद्योग के लिए चुनौतियां और अवसर दोनों प्रस्तुत करती है। सर्वेक्षण किए गए 81 प्रतिशत ग्लोबल नेक्स्ट जनरेशन एचएनडब्ल्यूआई की तुलना में, 85 प्रतिशत नेक्स्ट जनरेशन एचएनडब्ल्यूआई भारतीय अगले 1-2 वर्षों में अपने माता-पिता की वेल्थ मैनेजमेंट फर्म से स्विच करने की योजना बना रहे हैं। यह एक बड़ा बदलाव है जो पारंपरिक ग्राहक-फर्म संबंधों में बदलाव का संकेत देता है।
कैपजेमिनी की रिपोर्ट में इस बदलाव के पीछे के कारणों का भी विश्लेषण किया गया है। सर्वेक्षण किए गए भारतीय नेक्स्ट जनरेशन एचएनडब्ल्यूआई में से लगभग 41 प्रतिशत ने लेनदेन करने के लिए अप्रभावी डिजिटल टूल को वेल्थ मैनेजमेंट फर्म से स्विच करने का एक प्रमुख कारण बताया है। यह दर्शाता है कि युवा और तकनीकी रूप से जानकार एचएनडब्ल्यूआई अपनी वित्तीय जरूरतों को पूरा करने के लिए अधिक सहज और उन्नत डिजिटल अनुभवों की तलाश में हैं। वे ऐसी फर्मों को पसंद करते हैं जो नवीनतम तकनीक का उपयोग करती हैं और उन्हें अपनी संपत्ति का प्रबंधन करने के लिए सुविधाजनक डिजिटल प्लेटफॉर्म प्रदान करती हैं।
इसके अलावा, रिपोर्ट से पता चला है कि भारत में 2030 तक 98 प्रतिशत नेक्स्ट जनरेशन एचएनडब्ल्यूआई अपनी ऑफशोर संपत्तियों को 10 प्रतिशत से अधिक बढ़ाने की योजना बना रहे हैं। यह प्रवृत्ति वैश्विक निवेश अवसरों में उनकी बढ़ती रुचि और अपने पोर्टफोलियो को विविधता प्रदान करने की इच्छा को दर्शाती है। वेल्थ मैनेजमेंट फर्मों को इन उभरती जरूरतों को पूरा करने के लिए अपनी सेवाओं और पेशकशों को अनुकूलित करने की आवश्यकता होगी।
वैश्विक परिदृश्य और वैकल्पिक निवेश का बढ़ता महत्व
वैश्विक स्तर पर भी एचएनडब्ल्यूआई की आबादी में वृद्धि दर्ज की गई है। रिपोर्ट से पता चला है कि ग्लोबल एचएनडब्ल्यूआई की आबादी 2024 में 2.6 प्रतिशत बढ़ी है। यह वृद्धि मुख्य रूप से अल्ट्रा एचएनडब्ल्यूआई की आबादी में वृद्धि की वजह से देखी गई, जो 6.2 प्रतिशत बढ़ी। इस वृद्धि के पीछे मजबूत शेयर बाजारों और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) से जुड़ी आशावादिता जैसे कारक प्रमुख रहे हैं, जिन्होंने पोर्टफोलियो रिटर्न को बढ़ावा दिया है। AI में निवेश के अवसरों और इसके संभावित आर्थिक प्रभावों ने निवेशकों के विश्वास को बढ़ाया है, जिससे संपत्ति में वृद्धि हुई है।
डेटा यह भी दर्शाता है कि वैकल्पिक निवेश (Alternative Investments) जैसे कि प्राइवेट इक्विटी और क्रिप्टोकरेंसी एचएनडब्ल्यूआई होल्डिंग्स में एक स्थापित उपस्थिति दर्ज करवाते हैं। ये निवेश अब एचएनडब्ल्यूआई के पोर्टफोलियो का लगभग 15 प्रतिशत हिस्सा हैं। यह पारंपरिक परिसंपत्ति वर्गों से परे निवेश के अवसरों की तलाश में एचएनडब्ल्यूआई की बढ़ती प्रवृत्ति को दर्शाता है, क्योंकि वे उच्च रिटर्न और पोर्टफोलियो विविधीकरण की तलाश में हैं।
वेल्थ मैनेजमेंट फर्मों के लिए चुनौतियाँ और अवसर
कैपजेमिनी के फाइनेंशियल सर्विसेज स्ट्रैटेजिक बिजनेस यूनिट और ग्रुप एग्जीक्यूटिव बोर्ड मेंबर के सीईओ कार्तिक रामकृष्णन ने इन प्रवृत्तियों के निहितार्थों पर टिप्पणी की। उन्होंने कहा, "एक बड़े लेवल पर वेल्थ ट्रांसफर इंडस्ट्री के लिए एक निर्णायक क्षण होगा। ग्लोबल वेल्थ में वृद्धि के बावजूद, 81 प्रतिशत उत्तराधिकारी, विरासत के एक से दो साल के भीतर फर्म बदलने की योजना बना रहे हैं।" रामकृष्णन ने चेतावनी दी कि "इन असंतुष्ट ग्राहकों को खोने की संभावना ग्लोबल वेल्थ मैनेजमेंट सेक्टर के लिए बड़ा जोखिम पैदा करने जा रही है।" यह दर्शाता है कि वेल्थ मैनेजमेंट फर्मों को अपनी रणनीतियों को तत्काल अनुकूलित करने की आवश्यकता है ताकि वे अगली पीढ़ी के ग्राहकों को बनाए रख सकें।
नेक्स्ट जनरेशन एचएनडब्ल्यूआई अपने माता-पिता से बहुत अलग अपेक्षाओं के साथ आते हैं। वे केवल संपत्ति के संरक्षण से अधिक की तलाश में हैं; वे ऐसे समाधान चाहते हैं जो उनकी जीवनशैली, मूल्यों और डिजिटल अपेक्षाओं के अनुरूप हों। यह पारंपरिक रणनीतियों से हटकर तत्काल बदलाव की जरूरत को दिखाता है, ताकि इस वेल्थ जर्नी पर नेक्स्ट जनरेशन एचएनडब्ल्यूआई की उभरती जरूरतों को प्रभावी ढंग से पूरा किया जा सके।
रामकृष्णन ने फर्मों को सलाह दी, "फर्मों को सलाहकारों को डिजिटल क्षमताओं से लैस करने के लिए भी तैयार रहना चाहिए, जो संभावित रूप से एजेंटिक या जनरेटिव एआई से जुड़े हों, ताकि क्लाइंट और प्रमुख कर्मचारियों दोनों को खोने के जोखिम को कम किया जा सके।" इसका अर्थ है कि वेल्थ मैनेजमेंट फर्मों को न केवल अपने ग्राहकों के लिए डिजिटल प्लेटफॉर्म में निवेश करना चाहिए, बल्कि अपने सलाहकारों को भी उन्नत डिजिटल उपकरणों और एआई-संचालित समाधानों के साथ सशक्त बनाना चाहिए। यह उन्हें ग्राहकों को अधिक व्यक्तिगत और कुशल सेवाएं प्रदान करने में मदद करेगा, जिससे ग्राहक संतुष्टि और प्रतिधारण में वृद्धि होगी।
भविष्य की राह: अनुकूलन और नवाचार
कैपजेमिनी की 'वर्ल्ड वेल्थ रिपोर्ट 2025' भारत और वैश्विक स्तर पर एचएनडब्ल्यूआई की संपत्ति में महत्वपूर्ण वृद्धि को रेखांकित करती है। हालांकि, यह रिपोर्ट वेल्थ मैनेजमेंट उद्योग के लिए एक स्पष्ट संदेश भी देती है: अगली पीढ़ी के धनी व्यक्तियों की बदलती अपेक्षाओं को पूरा करने के लिए अनुकूलन और नवाचार महत्वपूर्ण हैं। डिजिटल परिवर्तन, व्यक्तिगत सेवाओं पर ध्यान केंद्रित करना, और वैकल्पिक निवेशों में विशेषज्ञता विकसित करना वेल्थ मैनेजमेंट फर्मों के लिए भविष्य में सफल होने की कुंजी होगी। जो फर्म इन प्रवृत्तियों को पहचानती हैं और उनके अनुसार अपनी रणनीतियों को समायोजित करती हैं, वे इस बढ़ते और गतिशील बाजार में अपनी स्थिति मजबूत कर पाएंगी।